Kota News: इस चमत्कारी मंदिर में IIT और NEET में एडमिशन के सपने होते हैं पूरे, सिर्फ एक बार दर्शन से होगी हर इच्छा पूरी
राजस्थान :- हिंदू धर्म के अनुसार भारत में काफी सारे मंदिर ऐसे हैं जहां पर लोगों की मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं. ऐसा ही एक मंदिर राजस्थान के तलवंडी क्षेत्र में मौजूद है. लोगों का मानना है कि यहां के मंदिर में छात्रों की मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं. यहां पर पूजा करने से बच्चों को IIT और NEET में एडमिशन मिल जाता है. आइए जानते हैं इस मंदिर के बारे में और भी जानकारी.
कोटा के राधा कृष्ण मंदिर की है काफी मान्यता
वैसे तो भारत देश में काफी सारे मंदिर हैं जिनकी मान्यताएं बहुत है. लेकिन आज हम राजस्थान के तलवंडी क्षेत्र के राधा कृष्ण मंदिर की बात कर रहे हैं. यहां के पुजारी ने बताया कि यहां पर हर रोज 350 छात्र अपनी मनोकामनाएं लेकर आते हैं. छात्रों द्वारा दावा किया गया है कि उनकी मनोकामनाएं पूरी होती है.
नीट 2023 और जेईई 2023 की परीक्षाओं का शेड्यूल जारी कर दिया गया है, जिसकी तैयारी में छात्र जोरों शोरों से लगे हुए हैं. इन्हीं तैयारी के बीच छात्रों की आस्था से जुड़ी एक बात सामने आई है. छात्रों का कहना है कि राजस्थान के कोटा के राधा कृष्ण मंदिर में पूजा करने से हमारी मनोकामना पूर्ण होती है. इतना ही नहीं छात्रों ने दावा किया है कि वह मनोकामना के रूप में जो भी मंदिर की दीवार पर लिखते हैं वह पूरा हो जाता है.
दीवार पर लिखकर मांगते हैं मनोकामना
इस मंदिर में हर रोज काफी सारे बच्चे अपने मनोकामना लेकर आते हैं. काफी सारे छात्रों ने इस मंदिर की दीवार पर अपनी मनोकामनाएं लिखी हुई है. उनमें से कुछ मनोकामनाएं इस प्रकार हैं- भगवान मेरी पढ़ाई में मन लगने लगे, भगवान मेरा एम्स दिल्ली में एडमिशन हो जाए, भगवान मेरा JEE Mains 2023 क्लियर हो जाए, भगवान मेरा NEET 2023 निकल जाए. इस प्रकार की और भी काफी सारी मनोकामनाएं हैं जो छात्रों ने मंदिर के दीवार पर लिखी हुई है. आप ये पोस्ट KhabriRaja.com वेबसाइट पर पढ़ रहे है. आपकी इस पोस्ट के बारे मे क्या राय है हमें कॉमेंट बॉक्स मे जरूर बताएं.
रोजाना लगभग 350-400 छात्र आते हैं मंदिर
राधा कृष्ण मंदिर के पुजारी ने बताया कि यहां हर रोज लगभग 350 से 400 छात्र अपने मनोकामनाएं लेकर आते हैं. छात्रों द्वारा दावा भी किया गया है कि उनकी मनोकामनाएं पूरी होती हैं. बहुत से छात्र अपनी मनोकामनाओं को मंदिर की दीवार पर लिखते हैं. इसलिए हर 2 महीने में मंदिर की दीवार को पेंट करवाना पड़ता है. काफी बार प्रशासन द्वारा दीवार पर कुछ लिखने के लिए रोक लगा दी गई थी. लेकिन छात्राओं का मानना है कि दीवार पर लिखने से उनकी मनोकामनाएं हमेशा पूरी हुई है. इसीलिए प्रशासन ने दोबारा दीवार पर लिखने की अनुमति दे दी, साथ ही इस दीवार का नाम विश्वास दीवार रख दिया है.