Oppo, Realme समेत इन चाइनीज कंपनियों को बड़ा झटका, अब फॉलो करना होगा ये प्लान नहीं तो उठाना होगा बोरिया बिस्तर
नई दिल्ली :- भारत में काफी सारी ऐसी Companies है जो भारत की नहीं है. ऐसी कंपनियों को केंद्र सरकार द्वारा फरमान जारी किया गया है. इन कंपनियों में China की मोबाइल कंपनियां भी शामिल है. अगर चीन भारत में अपना Business करना चाहता है तो उसके लिए पहले उसको केंद्र सरकार का बनाया हुआ Plan Follow करना होगा. आईए जानते हैं क्या है यह प्लान.
केंद्र सरकार ने बनाया नया प्लान
एक रिपोर्ट के मुताबिक पता लगा है कि केंद्र सरकार ने Oppo, Xiaomi, Realme और Vivo समेत दूसरी चीनी कंपनियों को आदेश दिया है कि अगर भारत में अपना बिजनेस करना है तो उसके लिए भारतीय इक्विटी भागीदारी को भी शामिल करना होगा. साथ ही सरकार ने कंपनी को कहा है कि उन्हें अपने मुख्य कार्यकारी अधिकारी यानी सीईओ, मुख्य वित्तीय अधिकारी, मुख्य तकनीकी अधिकारी आदि बड़े पदों पर भारतीय लोगों को नियुक्त करना होगा. इन नियमों का पालन करने के बाद ही अब यह कंपनियां भारत में अपना बिजनेस चल पाएंगी
टैक्स रूल्स को भी करना होगा फॉलो
केंद्र सरकार ने कंपनियों को भारतीय कॉन्ट्रैक्ट मैन्युफैक्चरर्स को अप्वॉइंट करने, मैन्युफैक्चरिंग को संयुक्त उद्यानों के माध्यम से Local Level तक बढ़ाने ,भारत में प्रोडक्ट का निर्यात का विस्तार करने और केवल स्थानीय मैन्युफैक्चरर को नियुक्त करने का निर्देश दिया है. साथ ही सरकार ने कहा है कि कंपनी को भारत की टैक्स पॉलिसी का भी पालन करना होगा. चीनी कंपनी के लिए इन नए नियमों को इलेक्ट्रॉनिक और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के द्वारा फ्रेम किया गया है. केंद्र सरकार ने हाल ही में चीनी Mobile Firm और ICEA के साथ एक बैठक की थी सरकार का बैठक करने का उद्देश्य चीनी स्मार्टफोन कंपनियों द्वारा की जाने वाली टैक्स की चोरी और हजारों करोड़ों रुपए के अवैध लेनदेन की जांच करना है..
क्या है प्लान के पीछे की वजह
सरकार ने नए नियम बनाए हैं उसके पीछे एक और वजह है. सरकार का कहना है कि चीनी कंपनियां भारत में मौजूद लोकल टैलेंट को समझे और भारत में ही नए प्रॉडक्ट्स को मैन्युफैक्चर करें और उसे विदेश तक पहुंचने में लोगों को रोजगार दिलाए.
शाओमी मोबाइल का है सबसे बड़ा कारोबार
भारत में काफी सारे मोबाइल ऐसे हैं जो चीनी कंपनियों द्वारा बेचे जाते हैं. लेकिन उनमें से शाओमी मोबाइल सबसे ज्यादा कारोबार करता है. इसके बाद ओप्पो, वीवो समेत काफी सारी कंपनियां भी बड़े पैमाने पर कारोबार करती है. Smartphone की डिमांड ज्यादा होने की वजह से चीनी कंपनियों ने अपना कारोबार करोड़ों रुपए तक पहुंचा दिया है.