Railway Facts: इस ट्रेन को देख लोग पकड़ लेते हैं माथा, पूरी ही ट्रेन में नहीं होते खिड़की और दरवाजे, जानें कारण
नई दिल्ली, Railway Facts :- आप सभी ने कभी ना कभी ट्रेन को जरूर देखा होगा. लेकिन क्या आपने कभी ऐसी ट्रेन को देखा है जिसमें एक भी खिड़की या दरवाजा ना हो. भारत में वैसे तो 12000 से भी ज्यादा Train चलती हैं, लेकिन उनमें से कुछ ट्रेन ऐसी हैं जिनमें कोई भी खिड़की दरवाजा नहीं होता है. ऐसी कोच को NMG कोच रहते हैं. आईए जानते हैं इस ट्रेन की बारे में.
भारत में चलती हैं बिना खिड़की और दरवाजे की ट्रेन
भारत में अलग-अलग रूट पर Passengers से लेकर सुपरफास्ट ट्रेन चलती हैं, साथ ही सामान के लिए माल गाड़ियां और कार्गो गाड़ियां भी चलाई जाती हैं. रेल में सफर करने के दौरान ज्यादातर लोगों को खिड़की वाली सीट से सफर करना अच्छा लगता है. लेकिन काफी सारी ट्रेन ऐसी होती है जिसके डब्बे में कोई खिड़की या फिर दरवाजा नहीं होता है. अब आप सोच रहे होंगे कि बिना खिड़की दरवाजे की ट्रेन किस काम आती है. दरअसल बिना खिड़की दरवाजे वाले कोच को एनएमजी कोच रहते हैं.
ट्रेन के डिब्बे को किया जाता है रिटायर
क्या आपको पता है जिस ट्रेन के डिब्बे में आप सफर करते हैं वह भी रिटायर होता है. जी हां, भारतीय रेल के ICF कोच को मैक्सिमम 25 साल तक Use कर सकते हैं. इस दौरान हर पांच या 10 साल में कोच की मरम्मत या मेंटेनेंस की जाती है. 25 साल पूरा होने के बाद आईसीएफ कोच को पैसेंजर ट्रेन से हटा दिया जाता है. रिटायर हुए इस कोच को Newly Modified Goods रेट के नाम से ऑटो करियर के तौर पर इस्तेमाल किया जाता है और इसके सभी खिड़कियां और दरवाजे सील कर दिए जाते हैं. बाद में इन कोच को कार, ट्रैक्टर, मिनी ट्रक जैसे वाहनों को लोड करने के लिए इस्तेमाल किया जाता है.
NMG कोच को अंदर से किया जाता है Seal
इन NMG कोचों को 5 से 10 साल तक इस्तेमाल किया जाता है. इन कोच के अंदर से सभी Seats, लाइट, पंखे हटा दिए जाते हैं और ज्यादा मजबूत बनाने के लिए इसमें लोहे की पत्तियां लगाई जाती हैं. कोच के सभी खिड़की दरवाजे Lock करने के बाद इसके पिछले हिस्से में दरवाजा बनाया जाता है, ताकि आसानी से सामान को लोड या अनलोड किया जा सके.